Election 2023 : सियासत से सट्टा बाजार तक लगती शर्तें- बढ़ती बैचेनी


  • 50 रुपए के स्टाम्प पेपर पर लिखा-पढ़ी के साथ लगाई जा रही लाखों की शर्त
  • किसकी बनेगी सरकार ? भाजपा और कांग्रेस समर्थकों में दावे- प्रतिदावे 

मध्य प्रदेश में चुनाव परिणाम का समय जैसे- जैसे नजदीक आता जा रहा है, वैसे- वैसे राजनीतिक दलों के नेताओं और कार्यकर्ताओं का सियासी पारा ऊपर-नीचे हो रहा है। इसमें सबसे बड़ा योगदान सट्टा बाजार का भी है, जिसके हार- जीत पर घटते- बढ़ते रेट लोगों में कौतुहल पैदा करते रहते हैं। चुनाव नतीजों के प्रति लोगों की बैचेनी का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि जब राजनीतिक पंडितों के अनुमान और सट्टा बाजार के घटते- बढ़ते भावों से भी तसल्ली न हुई तो स्वयं भी हार जीत पर शर्त लगाने लगे। शर्त भी 10-20 हजार की नहीं, लाखों की। हालांकि यह सर्वविदित है कि सट्टा-जुआ, शर्तबाजी अपराध है। इसने कई लोगों के जीवन और परिवार बर्बाद किए हैं। लेकिन चुनाव के नशे में चूर लोग एक लाख से 10 लाख तक की शर्त लगा रहे हैं। दोनों ही पार्टियों के समर्थक अपने दल की सरकार बनने का दावा - प्रतिदावा कर रहे हैं। समर्थकों के बीच सरकार गठन को लेकर भारी उत्साह है। 3 दिसंबर को चुनाव परिणाम आ जाएंगे और साफ हो जाएगा कि मध्य प्रदेश में किस दल की सरकार बन रही है।


  • भाजपा- कांग्रेस समर्थकों ने लगाई एक - एक लाख की शर्त 

ताजा मामला भी छिंदवाड़ा जिले की हर्रई तहसील की ग्राम पंचायत सूखा पाड़ा का सामने आया है जहां कांग्रेस समर्थक पूर्व सरपंच धनीराम भलावी ने वहीं के निवासी नीरज मालवीय के साथ शर्त लगाई है। धनीराम भलावी का दावा है कि कांग्रेस की सरकार बनेगी, वहीं नीरज मालवीय का दावा है कि भाजपा की सरकार बनेगी। शर्त के मुताबिक यदि कांग्रेस की सरकार बनी तो नीरज, धनीराम को और यदि भाजपा की सरकार बनी तो धनीराम, धीरज को एक लाख रुपये देंगे। खास बात यह है कि इस शर्त की बाकायदा 50 रुपये के स्टाम्प पेपर लिखा-पढ़ी की गई है जिस पर पांच गवाहों के दस्तखत भी हैं।

  • कमलनाथ की जीत को लेकर 10 लाख की शर्त 

इससे पहले गत 18 नवंबर को पूर्व सीएम कमलनाथ के क्षेत्र छिंदवाड़ा का एक ऐसा ही मामला प्रकाश में आया था जिसमें दो व्यापारियों ने कमलनाथ की जीत और हार की शर्त लगाई थी। उन्होंने रसीदी टिकट (राजस्व टिकट) पर दस्तखत कर एक लेटर हेड पर लिखा- पढ़ी की और तीन गवाहों के दस्तखत भी कराए। शर्त कांग्रेस से जुड़े ठेकेदार प्रकाश साहू और एक अन्य राम मोहन साहू के बीच लगीी थी। प्रकाश साहू के लेटर हेड पर लिखा गया कि अगर ‘कमलनाथ जी हारते हैं तो प्रकाश साहू, राम मोहन साहू को 10 लाख रुपये नगद देंगे और अगर बंटी साहू हारेगा तो राम मोहन साहू, प्रकाश साहू को 1 लाख नगद देंगे। यह राशि 3 दिसंबर को दी जाएगी। हालांकि बाद में उक्त दोनों व्यक्ति शर्त लगाने की बात से यह कहते हुए मुकर गए कि वह ऐसे ही हंसी मजाक कर रहे थे। 

  • अब सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा शर्त वाला यह स्टाम्प पेपर 

बहरहाल, सरकार किसकी बनेगी? कौन जीतेगा- कौन हारेगा? ये 3 दिसंबर को आने वाला चुनाव परिणाम बताएगा, लेकिन समर्थकों में इसे लेकर जिस तरह की बैचेनी देखने को मिल रही है उसकी वजह नतीजों की लम्बी प्रतीक्षा हो सकती है।




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